पवित्र आत्मा का ईश्वरत्व और उसके नाम - The Divinity Of The Holy Spirit And His Names - Vishwasi Tv - Pastor Bablu Kumar
प्रस्तावना
पिछले अध्याय में हमने इस वास्तविकता को प्रमाणित किया कि पवित्र आत्मा एक व्यक्ति है।
फिर भी वह एक मानव व्यक्ति नहीं है, क्योंकि उसका हमारे जैसा मानवीय शरीर नहीं है।
पवित्र आत्मा केवल एक व्यक्ति ही नहीं है परन्तु हमारा विश्वास है कि वह एक दिव्य व्यक्ति है।
पवित्र आत्मा सर्वशक्तिमान परमेश्वर है और हर बात में पिता और पुत्र के समान है।
1. पवित्र आत्मा का ईश्वरत्व
हम विश्वास करते हैं कि पवित्र आत्मा दिव्य है क्योंकिः
क) पवित्र आत्मा में दिव्य गुण विद्यमान हैः
1) सनातनः इब्रानियों 9:14, "तो मसीह का लोहू जिसने अपने आप को सनातन आत्मा के द्वारा परमेश्वर के समाने निर्दोष चढ़ाया।"
2) सर्वव्यापीः भजन संहिता 139:7-10, "मैं तेरे आत्मा से भाग कर किधर जाऊँ? वा तेरे सामने से किधर भागूँ? यदि मैं आकाश पर चढूं तो तू वहाँ है! यदि मैं अपना बिछौना अधोलोक में बिछाऊँ तो वहाँ भी तू है।"
3) सर्वशक्तिमान: लूका 1:35, "पवित्र आत्मा तुझ पर उतरेगा, और परमप्रधान की सामर्थ्य तुझ पर छाया करेगी इसलिए वह पवित्र जो उत्पन्न होने वाला है, परमेश्वर का पुत्र कहलाएगा।"
उत्पत्ति 1:2, "परमेश्वर का आत्मा जल के ऊपर मंडलाता था।"
अय्यूब 26:13, "उसकी आत्मा से आकाश-मण्डल स्वच्छ हो जाता है।"
4) सर्वज्ञानीः 1 कुरिन्थियों 2:10, 11, "आत्मा सब बातें, वरन परमेश्वर की गूढ़ बातें भी जांचता है परमेश्वर की बातें भी कोई नहीं जानता, केवल परमेश्वर का आत्मा।"
यूहन्ना 14:26, "परन्तु सहायक अर्थात् पवित्र आत्मा तुम्हें सब बातें सिखाएगा।"
यूहन्ना 16:13, "सत्य का आत्मा आएंगा, तो तुम्हें सब सत्य का मार्ग बताएगा।"
5) पवित्रता: लूका 11:13, "पवित्र आत्मा" पवित्र शब्द संज्ञा नहीं है परन्तु विशेषण है जो कि पवित्र आत्मा के चरित्र को व्यक्त करता है।
6) सत्य: 1 यूहन्ना 5:7, "जो गवाही देता है, वह आत्मा है, क्योंकि आत्मा सत्य है।"
7) परोपकारीः नहेम्याह 9:20, "वरन तू ने उन्हें समझाने के लिए अपने आत्मा को, जो भला है, दिया।"
8) सहभागिताः 2 कुरिन्थियों 13:14, "और पवित्र आत्मा की सहभागिता।"
ख) पवित्र आत्मा ऐसे कार्य करता है जो केवल परमेश्वर ही कर सकता है।
1) सृष्टिः अय्यूब 33:4, "मुझे ईश्वर के आत्मा ने बनाया है।"
भजन संहिता 104:30, "तू अपनी ओर से सांस भेजता है, और वे सिरजे जाते है।"
2) उद्धारः 1 कुरिन्थियों 6:11, "तुम प्रभु यीशु मसीह के नाम से और हमारे परमेश्वर के आत्मा से धोए गए, और पवित्र हुए और धर्मी ठहरे।" इफिसियों 1:13 के अनुसार "पवित्र आत्मा की छाप लगी।"
3) जीवन प्रदान करनाः यूहन्ना 6:63, "आत्मा तो जीवनदायक है, शरीर से कुछ लाभ नहीं: जो बातें मैंने तुमसे कही है वे आत्मा है, और जीवन भी है।"
4) नए जन्म का श्रोत: यूहन्ना 3:5,6, "जल और आत्मा से जन्मे और जो आत्मा से जन्मा है, वह आत्मा है।"
5) भविष्यद्वाणीः 2 पतरस 1:21, "क्योंकि कोई भी भविष्यद्वाणी मनुष्य की इच्छा से कभी नहीं हुई पर भक्त जन पवित्र आत्मा के द्वारा उभारे जाकर परमेश्वर की ओर से बोलते थे।" (बाइबल ईश्वर-प्रेरित)
6) धार्मिकता: और आने वाले न्याय के विषय में मनुष्यों को आश्वस्त करनाः यूहन्ना 16:8-11
ग) बाइबल इसको दृढ़ता से व्यक्त करती हैः
1) यशायाह 6:8-10 कहता है, "तब मैंने प्रभु का यह वचन सुना।" और पौलुस प्रेरितों के काम 28:25-27 में इसी परिच्छेद के सन्दर्भ में कहता है,
"पवित्र आत्मा ने यशायाह भविष्यद्वक्ता के द्वारा तुम्हारे बाप-दादों से अच्छा कहा," यह बयान "प्रभु" और "पवित्र आत्मा" की पहचान कराता है।
2) प्रेरितों के काम 5:3-5 में पवित्र आत्मा को परमेश्वर कहा गया है, "शैतान ने तेरे मन में यह बात क्यों डाली है कि तू पवित्र आत्मा से झूठ बोले तू मनुष्यों से नहीं, परन्तु परमेश्वर से झूठ बोला।"
घ) ईश्वरीय दोहे
1) मत्ती 28:19 बपतिस्मा का नियम, "पिता और पुत्र और पवित्र आत्मा के नाम में।"
2) 2 कुरिन्थियों 13:14, आशीर्वाद, "प्रभू यीशु मसीह का अनुग्रह और परमेश्वर का प्रेम और पवित्र आत्मा की सहभागिता तुम सब के साथ होती रहे।"
3) यूहन्ना 14:16, "और मैं (पुत्र यीशु मसीह) पिता (स्वयं परमेश्वर) से विनती करूंगा और वह तुम्हें एक और सहायक (पवित्र आत्मा) देगा।"
2. पवित्र आत्मा पिता और पुत्र से भिन्न है
कुछ लोगों का विचार है कि पवित्र आत्मा या तो, "पिता का आत्मा" है या वह "पुत्र का आत्मा" है, वह एक पृथक भिन्न व्यक्ति नहीं है।
लूका 3:21, 22, यीशु के बपतिस्मे के अवसर पर तीन भिन्न व्यक्ति साक्षी देते हैं:
1) परमेश्वर पिता ने कहा, "तू मेरा प्रिय पुत्र है, मैं तुझसे प्रसन्न हूँ।"
2) परमेश्वर पुत्र को यूहन्ना बपतिस्मा देने वाले ने यरदन नदी में बपतिस्मा दिया।
3) परमेश्वर पवित्र आत्मा शारीरिक रूप में कबूतर की नाई उतरा। मत्ती 28:19, बपतिस्मा का नियम तीनों व्यक्तियों में स्पष्ट रूप से पृथकता प्रकट करता है।
यूहन्ना 14:16, पुत्र प्रार्थना करता है; पिता भेजता है; पवित्र आत्मा वास करने आता है।
प्रेरितों के काम 2: 33, पुत्र को प्रतिष्ठित करके पिता के दाहिने हाथ पर बिठाया गया; पिता सिंहासन पर विराजमान है; पवित्र आत्मा पुत्र द्वारा प्राप्त करके कलीसिया को दिया गया।
पिता, पुत्र और पवित्र आत्मा तीन भिन्न व्यक्तित्व है, परन्तु परस्पर सम्बन्धित है, वे एक दूसरे से बातचीत करते हैं, एक दूसरे को मान्यता देते हैं (टोरें)।
3. पिता और पुत्र के प्रति आत्मा की अधीनता
यूहन्ना 14:26, पिता, पवित्र आत्मा को पृथ्वी पर भेजता है और वह आज्ञा का पालन करता है। यूहन्ना 15:26, पुत्र, पवित्र आत्मा को विश्वासियों तथा कलीसिया के पास भेजता है।
प्रेरितों के काम 16:7, इसमें पवित्र आत्मा को "यीशु का आत्मा" कहा गया है। रोमियों 8:9, यहाँ पवित्र आत्मा को "परमेश्वर का आत्मा" कहा गया है।
पवित्र आत्मा अपनी ओर से कुछ नहीं बोलता, परन्तु जो कुछ सुनता है, उसी को दोहरा देता है। यूहन्ना 16:13, "वह अपनी ओर से न कहेगा, परन्तु जो कुछ सुनेगा वही कहेगा।" यह सच्ची दीनता और कृपालुता है।
पवित्र आत्मा मसीह की महिमा करता है, यूहन्ना 16:14, "वह मेरी महिमा करेगा, क्योंकि वह मेरी बातों में से लेकर तुम्हें बताएगा।"
पवित्र आत्मा का नाम अन्त में आता है जब इन तीनों को परस्पर एक वाक्य में सम्बद्ध किया जाता हैः मत्ती 28:19, पिता, पुत्र और पवित्र आत्माः 2 कुरिन्थियों 13:14, पुत्र, पिता, पवित्र आत्मा।
4. पवित्र आत्मा के नाम
1) पवित्र आत्मा: लूका 11:13, तुम्हारा स्वर्गीय पिता तुम्हें पवित्र आत्मा देता है।
2) आत्माः यूहन्ना 3:6, "जो आत्मा से जन्मा है, वह आत्मा है।"
3) प्रभु का आत्मा: यशायाह 11:2; लूका 4:18, और प्रभु का आत्मा उस पर ठहरेगा।
4) यहोवा का आत्माः यशायाह 61:1, "प्रभु यहोवा (परमेश्वर) का आत्मा मुझ पर है।"
5) जीवते परमेश्वर का आत्माः 2 कुरिन्थियों 3:3, "जीवते परमेश्वर के आत्मा से...।"
6) मसीह का आत्माः रोमियों 8:9 "यदि किसी में मसीह का आत्मा नहीं तो वह उसका जन नहीं।"
7) परमेश्वर के पुत्र का आत्माः गलातियों 4:6, "परमेश्वर ने अपने पुत्र के आत्मा को जो हे अब्बा, हे पिता कह कर पुकारता है, हमारे हृदय में भेजा है।"
8) यीशु ख्रीष्ट का आत्माः फिलिप्पियों 1:19, "यीशु मसीह की आत्मा के दान के द्वारा, इसका प्रतिफल मेरा उद्धार होगा।"
9) यीशु का आत्माः प्रेरितों के काम 16:7, यीशु के आत्मा ने उन्हें वहाँ जाने से मना किया।
10) भस्म करने वाला आत्माः यशायाह 4:4, "जब प्रभु न्याय करने वाली और भस्म करने वाली आत्मा...।"
11) पवित्रता का आत्माः रोमियों 1:4, "पवित्रता की आत्मा के भाव से।"
12) प्रतिज्ञा किया हुआ पवित्र आत्माः इफिसियों 1:13, "प्रतिज्ञा किए हुए पवित्र आत्मा की छाप लगी।"
13) सत्य का आत्माः इसका प्रयोग यूहन्ना 14:17; 15:26 और 16:13 में किया गया है।
14) जीवन का आत्माः रोमियों 8:2, "क्योंकि जीवन की आत्मा की व्यवस्था ने मसीह यीशु में मुझे...।"
15) बुद्धि और समझ का आत्मा, युक्ति और पराक्रम का आत्मा, ज्ञान और प्रभु के भय का आत्मा-ये विचार और नाम, यशायाह 11:2 में पाए जाते हैं।
16) अनुग्रह का आत्माः इब्रानियों 10:29, "अनुग्रह की आत्मा का अपमान किया।"
17) महिमा का आत्माः 1 पतरस 4:14, "क्योंकि महिमा का आत्मा, जो परमेश्वर का आत्मा है।"
18) सनातन आत्मा: इब्रानियों 9:14, "जिसने अपने आपको सनातन आत्मा के द्वारा परमेश्वर के सामने निर्दोष चढ़ाया।"
19) सहायकः यूहन्ना 14:26; यूहन्ना 15:26
20) हर्ष का तेलः इब्रानियों 1:9, "हर्ष-रूपी तेल से तुझे अभिषेक किया।"
सारांश
पवित्र आत्मा को कबूतर की समानता भी दी गई है जो कि संकोची और सौम्य दोनों ही है। उसकी समानता वायु से की गई है, यूहन्ना 3:1-9, जो कि पुनर्जीवन की एक रहस्यमय और अदृश्य शक्ति है।
वह जल के श्रोते के समान है, जो कि शुद्धिकरण में एक स्वच्छ करने वाली शक्ति है, यूहन्ना 4:14। वह सेवा में आशिष की एक उमड़ती हुई नदी के समान है; यूहन्ना 7:38, 39। वह सहायक है, सान्त्वना देने वाला, और मसीही जीवन में निर्देशन देने और मार्गदर्शन करने वाला है; यूहन्ना 14:16।
Pastor Bablu Kumar Ghaziabad

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